क्या आप गठिया रोग से पीडित हैं?आमवात जिसे गठिया भी कहा जाता है अत्यंत
पीडादायक बीमारी है।अपक्व आहार रस याने “आम” वात के साथ संयोग करके गठिया
रोग को उत्पन्न करता है।अत: इसे आमवात भी कहा जाता है। इसमें जोडों में
दर्द होता है, शरीर मे यूरिक एसीड की मात्रा बढ जाती है। छोटे -बडे जोडों
में सूजन का प्रकोप होता रहता है। यूरिक एसीड के कण(क्रिस्टल्स)घुटनों व
अन्य जोडों में जमा हो जाते हैं।जोडों में दर्द के मारे रोगी का बुरा हाल
रहता है।गठिया के पीछे यूरिक एसीड की जबर्दस्त भूमिका रहती है। इस रोग की
सबसे बडी पहचान ये है कि रात को जोडों का दर्द बढता है और सुबह अकडन
मेहसूस होती है। यदि शीघ्र ही उपचार कर नियंत्रण नहीं किया गया तो जोडों को
स्थायी नुकसान हो सकता है।
गठिया रोग या संधिवात में रोगी के गांठों में असह्य दर्द होता है। यह रोग
पाचन क्रिया से संबंधित है। इसके संबंध खून में मूत्रीय अम्ल का अत्यधिक
उच्च मात्रा में पाए जाने से होता है। इसके कारण जोड़ों (प्रायः पादागुष्ठ
(ग्रेट टो)) में तथा कभी कभी गुर्दे में भी क्रिस्टल भारी मात्रा में बढ़ता
है। गठिया का रोग मसालेदार भोजन और शराब पीने से संबद्ध है। यह रोग पाचन
क्रिया से संबंधित है। इसके संबंध खून में मूत्रीय अम्ल का अत्यधिक उच्च
मात्रा में पाये जाने से होता है। इसके कारण जोड़ों (प्रायः पादागुष्ठ
(ग्रेट टो) में तथा कभी कभी गुर्दे में भी क्रिस्टल भारी मात्रा में बढ़ता
है।
यूरिक अम्ल मूत्र की खराबी से उत्पन्न होता है। यह प्रायः गुर्दे से बाहर
आता है। जब कभी गुर्दे से मूत्र कम आने (यह सामान्य कारण है) अथवा मूत्र
अधिक बनने से सामान्य स्तर भंग होता है, तो यूरिक अम्ल का रक्त स्तर बढ़
जाता है और यूरिक अम्ल के क्रिस्टल भिन्न-भिन्न जोड़ों पर जमा (जोड़ों के
स्थल) हो जाते है। रक्षात्मक कोशिकाएं इन क्रिस्टलों को ग्रहण कर लेते हैं
जिसके कारण जोड़ों वाली जगहों पर दर्द देने वाले पदार्थ निर्मुक्त हो जाते
हैं। इसी से प्रभावित जोड़ खराब होते हैं
संकेत और लक्षण
सभी गठिया विकारों के लिए आम लक्षण दर्द के विभिन्न स्तरों शामिल हैं,
सूजन, जोड़ों की कठोरता और कभी कभी संयुक्त (एस) के चारों ओर एक निरंतर
दर्द. एक प्रकार का वृक्ष और रुमेटी गठिया जैसी बीमारियों के भी लक्षण के
एक किस्म के साथ शरीर के अन्य अंगों को प्रभावित कर सकते हैं.
- हाथ का उपयोग करने के लिए या चलने में असमर्थता
- अस्वस्थता और थकान का अहसास
- बुखार
- नींद कम आना
- मांसपेशियों में दर्द और बदन दर्द
- चलते समय कठिनाई होना
- मांसपेशियों में कमजोरी
- लचीलेपन की कमी
- एरोबिक फिटनेस में कमी
- औरतों में एसट्रोजन की कमी के कारण भी अर्थराइटिस होता है।
- थइराइड में विकार के कारण भी यह बीमारी होती है।
- त्वचा या खून की बीमारी जैसे ल्यूकेमिया आदि होने पर भी जोड़ों में दोष पैदा हो जाता है।
- अधिक खन-पान और शारीरिक कामों में कमी के कारण, शरीर में आयरन और कैल्शियम की अधिकता होने से भी यह रोग हो सकता है।
- कई बार शरीर के दूसरे अंगों के संक्रमण भी जोड़ों को प्रभावित करते हैं जैसे टाइफायड या पैराटाइफायड में बीमारी के कुछ हफ़्तों बाद घुटनों आदि में दर्द हो सकता है।
- आतों को प्रभावित करने वाले रिजाक्स नामक किटाणु जोड़ों में भी विकार पैदा करते हैं।
- पोषण की कमी के कारण, खा़सतौर से बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता कम होने से रिह्यूमेटायड आर्थराइटिस होता है जिससे जोड़ों में दर्द, सूजन गांठों में अकड़न आ जाती है।
आप सभी से मेरा अनुरोध है कि इस किसी एक लक्षण के होने पर कृपया करके आप
तुरंत डा० से सम्पर्क करें, जिससे आप को यदि यह रोग हो रहा हो तो आरंभिक
अवस्था में ही इससे छुटकारा मिल जाए।
गठिया रोग के उपचार
हर्बल पैनोजौन कैप्सूल शुद्ध प्राकृतिक और आवश्यक जड़ी
बूटियों से बना है जो गठिया के कारण शरीर के जोड़ो में होने वाले दर्द में
आराम पहुँचाती है! मांसपेशियों और जोड़ों के दर्द, पीठ में दर्द, गठिया,
उपभेदों, घाव के साथ जुड़े दर्द में स्थायी राहत के लिए हर्बल पैनोजौन
कैप्सूल अवश्य इस्तेमाल करे हर्बल पैनोजौन कैप्सूल एक
विशेष रूप से मिश्रित उन्नत प्राकृतिक उत्पाद है जो शरीर को प्राकृतिक रूप
से राहत प्रदान करता है ! हर्बल पैनोजौन कैप्सूल आम रुमेटी संधिशोथ के दर्द
जलन के लिए प्रभावी रूप से आराम प्रदान करता है !
हर्बल पैनोजौन कैप्सूल भी पुराने गठिया में दर्द से रहत
प्रदान सहायता प्रदान करता है ! गठिया के दर्द और सूजन या जोड़ों की सूजन
और पेशी ऊतक में आने वाली समस्या का समाधान करता है हर्बल पैनोजौन कैप्सूल
भी एक प्रभावी एजेंट के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है यह शरीर मे यूरिक
एसीड की मात्रा को कम करता है। छोटे -बडे जोडों में सूजन का प्रकोप को कम
करता है है। यूरिक एसीड के कण(क्रिस्टल्स) जो घुटनों व अन्य जोडों में जमा
हो जाते हैं उनको दूर करता है । अन्यामित दर्द से रहत पहुंचता है। यह रोगी
को रात को जोडों में होने वाले असह्न्य दर्द को समाप्त करके राहत पहुँचाता
है और सुबह में होने वाली अकडन को दूर करता है।
पैनोजौन कैप्सूल के लाभ
- हड्डियों के दर्द और सूजन में लाभकारी
- 100% प्राकृतिक सुरक्षित सामग्री
- हड्डियों की गतिशीलता और लचीलापन बढ़ता है
- पुरुषों और महिलाओं की सभी उम्र के लिए लाभकारी है
- यह किसी भी प्रकार के शारीरिक दर्द में राहत प्रदान करता है
- यह हड्डियों को स्वस्थ बनाए रखने में मदद करता है
- यह हड्डियों के विकारों में मदद करता है
- स्वाभाविक रूप से हड्डियों को मजबूत बनता है
- आपके आहार में पर्याप्त कैल्शियम होना चाहिए। इससे हड्डियाँ कमजोर पड़ने का खतरा नहीं रहता। अगर साधारण दूध नहीं पीना चाहते तो दही, चीज और आइसक्रीम खाएँ। मछली, विशेषकर सलमोन (काँटे सहित) भी कैल्शियम का अच्छा स्रोत है।
- दवाई खाना न भूलें। अगर दवाइयाँ असर नहीं दिखा रहीं तो हमसे बात करें। पूर्ण लाभ का अहसास होने में सप्ताह या कई बार महीने लग जाते हैं। कुछ साइड इफेक्ट वक्त के साथ कम हो जाते हैं।
- नाश्ता अच्छा करें। फल, ओटमील खाएँ और पानी पीएँ। जहाँ तक मुमकिन हो कैफीन से बचें।
- वे जूते न पहने जो आपका पंजा दबाते हों और आपकी एड़ी पर जोर डालते हों। पैडेड जूता होना चाहिए और जूते में पंजा भी खुला-खुला रहना चाहिए।
- सोते समय गर्म पानी से नहाना मांसपेशियों को रिलैक्स करता है और जोड़ों के दर्द को आराम पहुँचाता है। साथ ही इससे नींद भी अच्छी आती है।
- हमें अवश्य बता दें कि गठिया के अलावा आप किसी और परेशानी के लिए और कौन सी दवाई लेते हैं, चाहे वह न्यूट्रीशनल सप्लीमेंट ही क्यों न हो।
- काम के दौरान कई-कई बार ब्रेक लेकर सख्त जोड़ों और सूजी मांसपेशियों को स्ट्रैच करें।
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